दीवाना तेरा आया बाबा तेरी शिरडी में........
है अजब तरह का सामान तेरी शिरडी में,
आता हिन्दू है मुस्लमान तेरी शिरडी में।
आए जितने भी परेशान तेरी शिरडी में,
काम सबके हुए आसान तेरी शिरडी में॥
दीवाना तेरा आया बाबा तेरी शिरडी में।
नज़राना दिल का लाया बाबा तेरी शिरडी में।
मिल मुझको मेरे बाबा, भरनी तुम्हे पड़ेगी,
झोली मैं खाली लाया बाबा तेरी शिरडी में॥
मैं दीवाना हो गया रे, मैं दीवाना हो गया,
मैं दीवाना हो गया रे, मैं दीवाना हो गया॥
यूँ तो हज़ारो मंजर देखने हैं हसीं मैंने,
दिल को सकूँन पाया, बाबा तेरी शिरडी में॥
शिरडी को छोड़ कर मैं कहीं और कैसे जाऊं,
सब कुछ तो यहीं पाया, बाबा तेरी शिरडी में॥
वो हो राम कृष्ण विष्णु या हो शेरों वाली मैया,
मुझे तू ही नज़र आया सब में, बाबा तेरी शिरडी में॥
ना ‘मैं भूल पाया तेरी शिरडी का वो मंज़र,
भगवान नज़र आया बाबा तेरी शिरडी में॥
दीवाना तेरा आया बाबा तेरी शिरडी में।
नज़राना दिल का लाया बाबा तेरी शिरडी में।
है अजब तरह का सामान तेरी शिरडी में,
आता हिन्दू है मुस्लमान तेरी शिरडी में।
आए जितने भी परेशान तेरी शिरडी में,
काम सबके हुए आसान तेरी शिरडी में॥
दीवाना तेरा आया बाबा तेरी शिरडी में।
नज़राना दिल का लाया बाबा तेरी शिरडी में।
मिल मुझको मेरे बाबा, भरनी तुम्हे पड़ेगी,
झोली मैं खाली लाया बाबा तेरी शिरडी में॥
मैं दीवाना हो गया रे, मैं दीवाना हो गया,
मैं दीवाना हो गया रे, मैं दीवाना हो गया॥
यूँ तो हज़ारो मंजर देखने हैं हसीं मैंने,
दिल को सकूँन पाया, बाबा तेरी शिरडी में॥
शिरडी को छोड़ कर मैं कहीं और कैसे जाऊं,
सब कुछ तो यहीं पाया, बाबा तेरी शिरडी में॥
वो हो राम कृष्ण विष्णु या हो शेरों वाली मैया,
मुझे तू ही नज़र आया सब में, बाबा तेरी शिरडी में॥
ना ‘मैं भूल पाया तेरी शिरडी का वो मंज़र,
भगवान नज़र आया बाबा तेरी शिरडी में॥
दीवाना तेरा आया बाबा तेरी शिरडी में।
नज़राना दिल का लाया बाबा तेरी शिरडी में।
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